त्योहारी सीजन में चाइनीज एप से लोन लेकर लोग मुसीबत झेल रहे हैं। एप से मिनटों में मिल रहा छोटा लोन पहले तो लोगों को लुभाता है। लोग मजबूरी वश लोन ले लेते हैं और फिर साइबर ठगों के जाल में फंस जाते हैं। ठग उनसे लोन की रकम से ज्यादा रुपये वसूलने के बाद भी उन्हें अश्लील फोटो वायरल करने की धमकी दे रहे हैं। बरेली में ऐसे कई मामले फिलहाल साइबर सेल और साइबर क्राइम के मंडलीय थाने पहुंच रहे हैं।
ढाई हजार का लोन लेकर चुकाया, अब ब्लैकमेलिंग भी
सुभाषनगर निवासी प्राइवेट कर्मचारी ने मजबूरी की स्थिति में किसी की सलाह पर एप डाउनलोड कर लोन ले लिया। अस्पताल से निकलते ही उन्होंने ढाई हजार के बदले साढ़े तीन हजार रुपये चुका भी दिए। इसके बाद उन्हें मैसेज और कॉल आने शुरू हुए। उनसे कहा गया कि उनकी भेजी गई राशि नहीं मिली है। स्क्रीनशॉट भेजा पर धमकी भरे कॉल और मैसेज का सिलसिला नहीं थमा। उनकी कॉन्टेक्ट लिस्ट भेजी गई। कहा गया कि रकम न मिली तो अश्लील वीडियो डालकर बदनाम कर देंगे। मामले में साइबर सेल से शिकायत की गई है।
प्रतिष्ठित बैंक की ओर से भी आ रहे कॉल
पीलीभीत रोड निवासी शख्स ने एक प्रतिष्ठित बैंक से लोन लिया था। इसका काफी हिस्सा जमा भी कर दिया। कुछ ही रकम बाकी थी, लेकिन उनके पास धमकी भरे कॉल आने लगे। अब उनकी कॉन्टेंक्ट लिस्ट में शामिल तमाम लोगों को धमकाया जा रहा है। दूसरी ओर से बोलने वाले किसी तरह बैंक कर्मी नहीं लग रहे। वे भड़काऊ भाषा बोलते हुए गालियां तक देते हैं। ऑनलाइन शिकायत की गई है।
किसी एप से न लें लोन तो बेहतर
हाल ही में वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण ने भी लोन एप को लेकर स्थिति स्पष्ट की है। इनसे बिना जानकारी लोन लेने को जोखिम भरा बताया है। यूपी पुलिस ने भी कुछ समय पहले 240 चाइनीज लोन एप की सूची जारी कर इनसे लेनदेन न करने का अलर्ट जारी किया था। जानकारों के मुताबिक अधिकतर लोन एप गैरकानूनी तौर पर काम कर रहे हैं। लोगों से लोन के नाम पर आधार कार्ड, पैन कार्ड और बैंक खाते की जानकारी लेकर ये एप लोगों के अकाउंट को ब्लॉक कर रहे हैं। बाद में लोगों के निजी डॉक्यूमेंट एडिट करके सार्वजनिक करने के बहाने उनको ब्लैकमेल भी कर रहे हैं। बेहतर यही है कि लोग किसी भी एप से लोन न लें।
थ्री डॉट्स से परखें एप का डाटा
साइबर थाने के इंस्पेक्टर नीरज कुमार के मुताबिक किसी भी लोन एप का इस्तेमाल करने से पहले उसके बारे में पड़ताल कर लें। आरबीआई की वेबसाइट पर उसका डाटा परख लें। एनबीएफसी (नॉन बैंकिंग फाइनेंशियल कंपनी) की सूची में जाकर स्थिति चेक कर सकते हैं। इसके अलावा सभी एप की तरह इनमें भी किनारे पर आ रहे थ्री डॉट (तीन बिंदुओं) पर क्लिक करके इन एप की हिस्ट्री देखी जा सकती है। इससे स्पष्ट हो जाएगा कि एप किस देश का है। चाइनीज हो तो कतई लेनदेन नहीं करना चाहिए। भारतीय एप होने पर लोग अपने विवेक का इस्तेमाल कर सकते हैं। वैसे खतरा भारतीय एप होने की स्थिति में भी बना रहता है।
लुभावने विज्ञापन देखकर फंसते हैं लोग
सोशल मीडिया प्लेटफार्म पर सैकड़ों लोन एप के विज्ञापन आते रहते हैं। यहां बिना कागजी खानापूरी के बड़ा लोन देने का वादा किया जाता है। कई लुभावने वादे किए जाते हैं। एप डाउनलोड करने पर निजी डिटेल का एक्सेस ले लिया जाता है। इनमें लोगों के फोन की कॉन्टेक्ट लिस्ट, मैसेज, लोकेशन, गैलरी आदि की अनुमति शामिल होती है। लुभावने वादों के बाद भी दस हजार रुपये से ज्यादा लोन नहीं दिया जाता है। बाद में लोग मुसीबत में फंसते चले जाते हैं। उन्हें गालियां दी जाती हैं और निजता भंग करने की कोशिश होती है।
ये बरतें सावधानी
- सोशल मीडिया पर दिखने वाले लुभावने विज्ञापनों से बचें।
- जरूरत पर स्वदेशी कंपनी से लोन लेने का प्रयास करें।
- किसी लोन के बारे में बैंक जाकर पूरी जानकारी लें।
- किसी को आधार कार्ड या पैनकार्ड न भेजें।
- किसी नए लिंक पर क्लिक न करें।
- त्योहार पर किसी ऑफर या इनाम के झांसे में न आएं।
- किसी को ओटीपी न बताएं, बैंक संबंधी डिटेल न दें।
- फिजूल के एप डाउनलोड करने से बचें।
- ठगी होते ही टोल फ्री नंबर 1930 पर कॉल करें।
- cybercrime.gov.in पर भी शिकायत दर्ज करा सकते हैं।
- सोशल मीडिया अकाउंट पर प्राइवेसी लगाकर रखें।
आईजी रेंज डॉ. राकेश कुमार सिंह ने बताया कि त्योहार पर तरह-तरह के ऑफर व लोन के बहाने साइबर ठग लोगों को लुभाने की कोशिश करते हैं। लोगों को इनसे सावधान रहना चाहिए। किसी को निजी जानकारी न दें। ठगी होते ही तत्काल पुलिस से शिकायत करें।